Jesus स्वर्गारोहण और आखरी संदेश।
प्रभु यीशु मृत्यु के 3 दिन बाद पुनर्जीवित होते हैं। तत्पश्चात वह 40 दिन तक विभिन्न स्थान पर चेलों को दर्शन देते रहते थे, और कलीसिया की स्थापना किस प्रकार करना है, उसके बारे में शिक्षा देते थे। आज हम प्रभु के स्वर्गारोहण और आखरी संदेश के बारे में अध्ययन करेंगे।
जब स्वर्ग जाने का समय आ जाता है, तब प्रभु चलो को गलील की एक पहाड़ी पर बुलाते हैं। चेले वहां जाने के बाद यीशु उनके पास आकर कहते हैं, मत्ती 28:18 स्वर्ग और पृथ्वी का समस्त अधिकार मुझे दिया गया है। कहने का मतलब सारी सृष्टि का अधिकार किसके पास हो सकता है? आपका जवाब होगा परमेश्वर, और यह बात खुद प्रभु कह रहे हैं। प्रभु स्वर्ग जाने से पहले बता रहे हैं, चेलों को समझा रहे हैं, जमीन, आसमान और सारी कायनात का अधिकार उनके पास है।
Today Bible verses
इसलिए मत्ती 28:19 में प्रभु कहते हैं, पृथ्वी के सभी जाति के लोगों को चेला बना कर, उन्हें पिता-पुत्र और पवित्र आत्मा के नाम से बपतिस्मा दो।
प्रभु यीशु स्वर्गारोहण से पहले, अपने आखिरी संदेश में पिता पुत्र और पवित्र आत्मा के नाम पर बपतिस्मा देने का जिक्र करते हैं। बपतिस्मा का अर्थ अभिषेक होता है। प्रभु यीशु जब तक स्वर्ग नहीं गए थे, तब तक चेलों को बपतिस्मा नहीं मिला था। Old testament में हम लोग देखते हैं कि पहले इसराइली लोगों का खतना किया जाता था। परंतु new testament में हम लोगों को बपतिस्मा के बारे में शिक्षा मिलता है।
प्रेरितो का काम अध्याय 1 वचन संख्या 4 और 5 में लिखा है, यरूशलेम को छोड़कर ना जाना। परंतु पिता की उस प्रतिज्ञा के पूरे होने की राह देखते रहो। जिसके विषय में मैंने तुम्हें बताया है। क्योंकि युहन्ना लोगों को पानी से बपतिस्मा देता था। परंतु कुछ दिनों के पश्चात तुम लोगों को पवित्र आत्मा से बपतिस्मा दिया जाएगा।
फिर मत्ती 28:20 मैं प्रभु चेलों को कहते हैं, मैंने तुम्हें जो आज्ञा दिया है, उसे लोगों को पालन करना सिखाओ। और सुनो, दुनिया के अंत तक मैं सदा तुम्हारे साथ रहूंगा।
प्रभु यीशु का स्वर्ग जाना अति आवश्यक था। क्योंकि जब वह स्वर्गारोहण नहीं करते, तब पवित्र आत्मा नहीं आता। क्योंकि प्रभु कह रहे थे कि मैं दुनिया के अंत तक सदा तुम्हारे साथ रहूंगा। इसका अर्थ यह है, कि प्रभु स्वर्ग जाकर पवित्र आत्मा को भेजते हैं। पवित्र आत्मा अर्थात प्रभु का आत्मा सदा दुनिया के अंत तक मसीह विश्वासी लोगों के साथ रहेंगे। दूसरी ओर देखा जाए तो प्रभु चेलों को पवित्र आत्मा का बपतिस्मा देना चाहते थे। 2020 साल पहले प्रभु शारीरिक रूप में इस धरती में जन्म लिए थे। फिर मरने के तीसरे दिन जी उठने के बाद वह 40 दिन तक चेलों को दिखाई दिये और अंत में स्वर्ग जाते हैं।
लोग पूछते हैं प्रभु यीशु को स्वर्गारोहण करना क्यों जरूरी था?
क्योंकि शैतान हमेशा लोगों का दोष लेकर पिता परमेश्वर के सामने उपस्थित होकर अभियोग लगाता था। इसलिए प्रभु यीशु स्वर्गारोहण करके परमेश्वर के दाहिने और बैठ गए, और पवित्र लहू के द्वारा लोगों का पाप क्षमा करने का प्रमाण देते हैं। हालांकि परमेश्वर का पुत्र होने का दायित्व को प्रभु यीशु इस धरती पर संपूर्ण रूप से पूरा करते हैं। फिर उनका काम समाप्त हो जाता है। और पवित्र आत्मा को इस धरती पर काम करने के लिए भेज देते हैं। पवित्र आत्मा इस धरती पर आकर कलीसिया का स्थापना करते हैं। एक परमेश्वर में तीन जन, पिता, पुत्र और पवित्र आत्मा होने के नाते तीनों काम कर रहे हैं। तीन अलग-अलग होने पर भी तीनों का काम एक है।
भाइयों हमारा लिखने का कारण यही है, की इस article को पढ़ने से आप लोगों का आत्मिक ज्ञान में वृद्धि हो। परमेश्वर के बारे में सही तरीके से जानने के लिए आपको मदद मिले। इससे आपका विश्वास बढ़ेगा और आप एक अच्छे मसीह विश्वासी बनेंगे।
Pray
सर्वशक्तिमान प्रभु यीशु, आप इस धरती में आकर हमारे लिए दुख उठाए क्रूस पर मर गए और तीसरे दिन जी उठने के बाद 40 दिन चेलों को दर्शन दिए और अपना काम को संपूर्ण करने के बाद स्वर्ग जाकर पिता की दाहिनी ओर बैठे हैं। प्रभु हम चाहते हैं कि हमारे अपराधों को क्षमा करके हमें भी अपने दिव्य दर्शन करने की सौभाग्य प्रदान करें। हम आपके चेलो के जैसा आपके सभी आज्ञाओं को मानकर चल सकें इसलिए करुणा करें। आपका इस धरती पर आने का तथा दुख उठाकर मृत्युवरुण कर के तीसरे दिन जी उठने के बाद स्वर्ग जाने का और पवित्र आत्मा का इस धरती में आने का रहस्य के बारे में हमें सही जानकारी और विवेक प्रदान करें। करुणा का सागर जीवित प्रभु मेरा यह निवेदन सुनकर स्वर्ग राज्य में ग्रहण करने की कृपा कीजिए। आमीन।
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